हरियाणा निवासी रामपाल को पीएम मोदी ने पहनाए जूते, 14 साल पुराना संकल्प हुआ पूरा
वर्ष 2010 में रामपाल कश्यप ने एक प्रतिज्ञा ली थी कि जब तक नरेंद्र मोदी,भारत के प्रधानमंत्री नहीं बनते, तब तक वे चप्पल नहीं पहनेंगे और यह प्रतिज्ञा उन्होंने तब ली थी, जब मोदी गुजरात के मुख्यमंत्री थे।
आखिरकार वह दिन आ ही गया जब यमुनानगर की एक रैली में पीएम मोदी ने खुद रामपाल कश्यप को मंच पर बुलाया और अपने हाथों से उन्हें जूते पहनाए। इस दौरान पीएम ने उनकी काफी प्रशंसा की और बातचीत कर सिलसिला आगे बढ़ाया।
रामपाल की यह कहानी सोशल मीडिया और स्थानीय समाचारों में तेजी से वायरल हो रही है। आम जनता में यह घटना एक उदाहरण के रूप में देखी जा रही है। जहां राजनीति से परे, एक आम व्यक्ति की आस्था, संकल्प और प्रतीक्षा अपने चरम पर पहुँचती है।
अक्सर कहा जाता है कि राजनीति आम आदमी से दूर होती जा रही है, लेकिन रामपाल कश्यप की यह मुलाकात बताती है कि जब नीयत सच्ची हो और विश्वास अटूट, तो नेता और जनता के बीच की दूरी भी मिट सकती है। कभी-कभी एक साधारण सा संकल्प, एक बड़ी मिसाल बन जाता है।